बलरामपुर : 26 हजार 275 कृषकों से अब तक लगभग 1 लाख 29 हजार मेट्रिक टन धान का उपार्जन
बलरामपुर : 26 हजार 275 कृषकों से अब तक लगभग 1 लाख 29 हजार मेट्रिक टन धान का उपार्जन


26 हजार 275 कृषकों से अब तक लगभग 1 लाख 29 हजार मेट्रिक टन धान का उपार्जन
जिले में 33 हजार 108 पंजीकृत किसानों से खरीदा जा रहा धान
 
*संदीप कुशवाहा की रिपोर्ट*

बलरामपुर 21 जनवरी 2021/राज्य शासन द्वारा प्रदेश भर के कृषकों से खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की जा रही है। राज्य के वास्तविक किसानों से धान खरीदी तथा उनके हितों को ध्यान में रखते हुए फसल के रकबे के आंकलन से लेकर विक्रय तक की प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया गया है। पूरी प्रक्रिया विभिन्न चरणों से होकर गुजरती है जिसमें किसानों का पंजीयन, गिरदावरी पश्चात खरीदी प्रक्रिया एवं भुगतान शमिल है। राज्य शासन के दिशा-निर्देशों के अनुरूप जिला प्रशासन सफलतापूर्वक किसानों का पंजीयन तथा गिरदावरी उपरांत सुचारू रूप से धान खरीदी में अपनी महती भूमिका निभा रहा है। साथ ही धान के अवैध परिवहन एवं संग्रहण पर रोक लगाने के लिए भी प्रशासन ने आवश्यक कदम उठाये हैं। जिले की बात करें तो वर्तमान खरीफ विपणन वर्ष में जिले के कुल 33108 किसानों का पंजीयन किया गया है, जो गतवर्ष पंजीकृत कृषक संख्या 28157 की तुलना में लगभग 4951 अधिक है। कलेक्टर श्री श्याम धावड़े ने बताया कि वर्तमान खरीफ विपणन वर्ष में धान उपार्जन हेतु जिले में कुल 46748.2700 हेक्टेयर धान के रकबे का पंजीयन किया गया जो कि गतवर्ष पंजीकृत रकबे 43301.58 हेक्टेयर की तुलना में लगभग 3446.69 हेक्टेयर अधिक है तथा इस वर्ष गिरदावरी के माध्यम से जिले में लगभग 6447 नवीन किसानों के 6954.3911 हेक्टेयर रकबे का भी पंजीयन किया गया है। जिले में पंजीकृत 33108 कृषकों में से अब तक 26275 किसानों से लगभग 129169.40 मेट्रिक टन धान का उपार्जन किया जा चुका है। गतवर्ष इसी अवधि में 12768 किसान से 56770.76 मेट्रिक टन धान का उपार्जन किया गया था। गत वर्ष की तुलना में इस वर्ष 45.34 प्रतिशत अधिक कृषकों से धान का उपार्जन किया जा चुका है। जिले में अब तक लगभग 79.36 प्रतिशत् पंजीकृत कृषक अपने धान का विक्रय कर चुके है। राज्य सरकार द्वारा धान खरीदी हेतु निर्धारित अंतिम तिथि तक जिले में और किसानों से धान उपार्जन की प्रक्रिया जारी रहेगी। कलेक्टर श्री श्याम धावड़े ने बताया कि जिले में धान बेचने वाले कृषकों को विक्रय किये गये धान के एवज में अब तक 201 करोड़ रूपये से अधिक की राशि भुगतान किया जा चुका है। खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में जिले में 13.60 लाख मेट्रिक टन धान का उपार्जन अनुमानित है तथा अनुमान के विरूद्ध जिले में अब तक लगभग 12.91 लाख मेट्रिक टन धान का उपार्जन किया जा चुका है एवं लगभग 0.69 लाख मेट्रिक टन धान उपार्जन किया जाना शेष है। शेष धान के उपार्जन हेतु लगभग 341 गठान बारदानों की आवश्यकता होगी, जिसके जिसके लिए पर्याप्त बारदाने की व्यवस्था जिला प्रशासन द्वारा सुनिश्चित की जा रही है। कलेक्टर ने बताया कि जिले में कस्टम मिलिंग हेतु धान के उठाव से लगभग 70 गठान मिलर बारदानें प्राप्त होने है। इसके अलावा पीडीएस से 71 गठान तथा नवीन एचडीपीई/पीपी के 200 गठान बारदानें प्राप्त होंगे। पीडीएस दुकानों से अतिरिक्त बारदानों की आपूर्ति सुनिश्चित करने के उददेश्य से सार्वजनिक वितरण प्रणाली के अंतर्गत माह फरवरी 2021 के खाद्यान्न आबंटन का वितरण माह जनवरी 2021 से किया जा रहा है। इस प्रकार जिले में शेष खरीदी हेतु आवश्यक बारदानों की शत्-प्रतिशत उपलब्धता जिला प्रशासन द्वारा सुनिश्चित की गयी है। कलेक्टर श्री धावड़े ने कहा कि उपरोक्त व्यवस्था के बावजूद भी यदि किसी समिति में बारदानों की आवश्यकता उत्पन्न होती है, तो इस हेतु किसान बारदानों में धान खरीदी की अनुमति भी राज्य शासन द्वारा प्रदान की गई है। इस प्रकार जिले में धान खरीदी के लिए बारदानों की पर्याप्त व्यवस्था है तथा खरीदी प्रभावित नहीं होगी। साथ ही शासन की पहल पर जिले में समर्थन मूल्य में कृषकों से मक्का भी खरीदा